जब हम किसी वस्तु या व्यक्ति को पसंद करते हैं और हम उसे पाना चाहते हैं, लेकिन मात्र उसके रंग, रूप, अच्छी स्थिति को देख के, तो वो आकर्षण है
यह आकर्षण विश्वास का होना है कि सकारात्मक या नकारात्मक विचार प्रत्येक व्यक्ति के जीवन में सकारात्मक या नकारात्मक अनुभव को लेके आता है। यह विश्वास उन विचार पर आधारित है जो कि लोग और उनके विचार दोनों ही शुद्ध ऊर्जा से बने हैं, और यह कि ऊर्जा की तरह आकर्षित करने की प्रक्रिया के माध्यम से व्यक्ति अपने स्वास्थ्य, धन और व्यक्तिगत संबंधों में सुधार करने में सक्षम है।
आकर्षण के नियम का कोई वैज्ञानिक आधार नहीं होता है और इसे छद्म विज्ञान के रूप में जाना जाता है। कई शोधकर्ताओं ने अपने समर्थकों की सहायता से वैज्ञानिक अवधारणाओं के दुरुपयोग की आलोचना भी की है।
आकर्षण का सिद्धांत समझना बहुत आसान नहीं है क्यूंकि इसके कोई वैज्ञानिक आधार नहीं है, ये एक रहस्य की तरह हमारे जीवन का हिस्सा है. इसे समझना कठिन होता है और जब जिस किसी भी व्यक्ति ने इस सिद्धांत को समझ लिया, वो विश्व का महान पुरुष बन गया
आपने अक्सर पाया होगा कि हम किसी न किसी चीज के विषय में बहुत अधिक सोचते हैं या उससे जुड़े कार्य करना बहुत पसंद करते हैं तब इन चीजों के लिए हमे एक चुम्बकीय शक्ति उस चीज या कार्य की ओर मोहित करती है, इन्हे ही हम आकर्षण का सिद्धांत कहते हैं. आकर्षण के सिद्धांत के अनुसार, यदि हम कुछ बुरा करते हैं या सोचते हैं तो हमारे साथ भी आगे बुरा ही होने की संभावना होती है और यदि हम अच्छा सोचते या करते हैं तो आगे हमारे साथ भी अच्छा होने की संभावना होती है।